SEBA Class 10 Hindi MIL Chapter 11 न्याय

Join Roy Library Telegram Groups

Hello Viewers Today’s We are going to Share With You, Ambar Bhag 2 Class 10 book PDF Download SEBA Class 10 Hindi MIL Chapter 11 न्याय Question Answer in English Medium. Are you a Student of SEBA (Secondary Education Board of Assam). SEBA Class 10 Hindi MIL Chapter 11 न्याय Solutions Which you can Download PDF Notes SEBA Class 10 Hindi MIL Chapter 11 न्याय Notes for free using direct Download Link Given Below in This Post.

SEBA Class 10 Hindi MIL Chapter 11 न्याय

Today’s We have Shared in This Post, Ambar Bhag 2 Class 10 Book PDF SEBA Class 10 Hindi MIL Chapter 11 न्याय Solutions for Free with you. SEBA Class 10 Hindi MIL Chapter 11 न्याय Textbook Notes PDF I Hope, you Liked The information About The Ambar Bhag 2 Class 10 Book PDF Question Answer. if you liked Ambar Bhag 2 Class 10 Book PDF English medium Then Please Do Share this Post With your Friends as Well.

न्याय

गद्य खंड

अम्यास-माला

बोध एवं विचार

1. सही विकल्प का चयन कीजिए:

(क) ‘न्याय’ पाठ किस प्रकार की साहित्यिक विधा है?

(i) कहानी।

(ii) उपन्यास।

(iii) नाटक।

(iv) एकांकी।

उत्तर: (iii) नाटक।

(ख) देवदत्त ने हंस को किस हथियार से घायल किया था?

(i) बंदूक।

(ii) तलवार।

(iii) तीर।

(iv) तोप।

उत्तरः (iii) तीर।

(ग) सिद्धार्थ कहाँ के राजकुमार थे?

(i) वैशाली।

(ii) मगध।

(iii) हस्तिनापुर।

(iv) कपिलवस्तु।

उत्तर: (iv) कपिलवस्तु।

2. पूर्ण वाक्य में उत्तर दीजिए:

(क) हंस को तीर से किसने घायल किया?

उत्तरः हंस को तीर देवदत्त ने मारा।

(ख) घायल हंस किसके पास आ गिरा?

उत्तरः घायल हंस सिद्धार्थ के पास आ गिरा।

(ग) सिद्धार्थ कौन थे?

उत्तरः सिद्धार्थ कपिलवस्तु के राजकुमार थे।

(घ) सिद्धार्थ कौन थे?

उत्तरः देवदत्त सिद्धार्थ का चचेरा भाई था।

(ङ) सिद्धार्थ के पिता का क्या नाम था?

उत्तरः सिद्धार्थ के पिता का नाम महाराज शुद्धोधन था।

(च) ‘पक्षी का शिकार खेलना मनुष्य का धर्म है।’- यह किसका कथन है?

उत्तरः ‘पक्षी का शिकार खेलना मनुषय का धर्म है।’ यह कथन सिद्धार्थ के सखा ने कहे।

(छ) ‘क्षत्रिय अपना शिकार नहीं छोड़ सकता।’- यह किसका कथन है?

उत्तरः ‘क्षत्रिय अपना शिकार नहीं छोड़ सकता।’ यह कथन देवदत्त ने कहे।

3. संक्षिप्त उत्तर दीजिए:

(क) राजकुमार सिद्धार्थ और उनके सखा के बीच क्या-क्या बातें हो रही थीं?

उत्तरः राजकुमार सिद्धार्थ और उनके सखा के बीच संध्याकाल के समय पक्षियों के और पशुओं के घर लौटने के बारे में बात कर रहे थे। गाय अपने बछड़ों को प्यार करने के लिए उतावली हो रही होंगी।

(ख) सिद्धार्थ ने घायल हंस के साथ कैसा व्यवहार किया?

उत्तरः सिद्धार्थ ने घायल हंस का तीर निकाला और उसे अपनी गोद में उठा लिया। राजहंस भी रहे स्नेह के साथ उनकी गोद में चिपक गया।

(ग) हंस पर अपना अधिकारी जताने के लिए देवदत्त ने क्या तर्क दिया?

उत्तरः हंस पर अपना अधिकार जताने के लिए देवदत्त ने कहा-हमने इसका आखेट किया है, इसलिए यह हमारा हंस है। मैं एक क्षत्रिय हूँ मैं शिकार नहीं छोड़ सकता।

(घ) राजकुमार सिद्धार्थ ने हंस पर अपना अधिकार किस आधार पर जताया था?

उत्तरः राजकुमार ने कहा मैं भी एक क्षत्रिय हूँ और क्षत्रिय शरणागत को धोखा नहीं दे सकता। यह मेरी शरण में आया है मैं इसे नहीं लैटाऊँगा।

(ङ) घायल हंस को लेकर विवाद बढ़ने पर सिद्धार्थ के सखा ने क्या सुझाव दिया?

उत्तरः घायल हंस को लेकर विवाद बढ़ने पर सिद्धार्थ के सखा ने कहा आप दोनों ही राजकुमार हैं और क्षत्रिय हैं। यह झगड़ा इस तरह नहीं सुलझ सकता इसलिए हमें महाराज के पास चलना चाहिए।

4. सम्यक उत्तर दीजिए:

(क) राजकुमार सिद्धार्थ और देवदत्त के विवाद का निर्णय मंत्री ने किस प्रकार किया?

उत्तरः राजकुमार सिद्धार्थ और देवदत्त के विवाद पर मंत्री ने कहा कि हंस को इस आसन पर बिठा दीजिए और बारी-बारी से अपने पास बुलाइए। पहले देवदत्त ने अपने पास बुलाया पर हंस डर कर चीख पड़ा। उसके बाद सिद्धार्थ ने उसे अपने पास बुलाया और हंस पंख फड़फड़ा कर राजकुमार की गोद में आ कर बैठ गया।

(ख) राजकुमार सिद्धार्थ और देवदत्त के चरित्र की विशेषताओं का वर्णन कीजिए।

उत्तरः राजकुमार सिद्धार्थ बहुत शांत स्वभाव के तथा देवदत्त कोध्री स्वभाव के थे।

(ग) अगर आप राजकुमार सिद्धार्थ की जगह होते तो क्या करते?

उत्तरः अगर मैं राजकुमार सिद्धार्थ की जगह होता होती, तो मैं भी हंस की जान बचाता बचाती।

(घ) मंत्री द्वारा विवाद का निर्णय होने के बाद देवदत्त की क्या प्रतिक्रिया हुई?

उत्तरः मंत्री द्वारा विवाद का निर्णय होने के बाद देवदत्त अपनी गर्दन झुका लेते हैं।

(ङ) मंत्री द्वारा विवाद का निर्णय होने के बाद सभा में क्या प्रतिक्रिया हुई?

उत्तरः मंत्री द्वारा विवाद का निर्णय होने के बाद सभा हर्ष और उल्लास से जय-जयकार करती है तथा सिद्धार्थ हंस को अपनी छाती से लगा लेते हैं। मंत्री और महाराज हर्ष से मुस्कराते हैं।

(च) मंत्री द्वारा किए गए निर्णय को क्या आप न्यायसंगत मानते हैं?

उत्तरः मंत्री द्वारा किए गए निर्णय को हम न्यायसंगत मानते हैं, क्योंकि जिस प्रकार एक मनुष्य को स्वतंत्र भाव से अपने लिए फैसले लेने का अधिकार है उसी प्रकार पक्षियों को भी है।

(छ) ‘न्याय’ शीर्षक एकांकी की कथा-वस्तु संक्षेप में लिखिए।

उत्तरः पाठ के अनुसार प्रेम और स्नेह के विजय को प्रभावशाली ढंग को दर्शाया गया है। राजकुमार सिद्धार्थ का एक स्नेहित रूप दर्शाया गया है। जबकि देवदत्त आखेट को पना धर्म समक्षता है। लेकिन निर्णयानुसार प्रेम की श्रेष्ठ ठहराया गया।

5. सप्रसंग व्याख्या कीजिए:

(क) क्षत्रिय अपना आखेट नहीं छोड़ सकता। परंतु क्षत्रिय शरणागत को भी तो धोखा नहीं दे सकता।

उत्तरः प्रसंग: प्रस्तुत पंक्ति हमारी हिंदी की पाठ्य पुस्तक ‘अंबर भाग-२’ से पाठ ‘न्याय’ से ली गई है। इस पाठ के लेखक ‘विष्णु प्रभाकर’ जी हैं।

व्याख्या: इस पंक्ति में लेखक कहना चाहते हैं कि एक क्षत्रिय अपने द्वारा के लिए हुए शिकार को नहीं छोड़ सकता। उसी प्रकार एक क्षत्रिय की शरण में आए हुए शरणार्थी को भी धोखा नहीं दे सकता।

(ख) बचानेवाला मारनेवाला से बड़ा होता है।

उत्तरः प्रसंग: प्रस्तुत पंक्ति हमारी हिंदी की पाठ्य पुस्तक ‘अंबर भाग-२’ से पाठ ‘न्याय’ से ली गई है। इस पाठ के लेखक ‘विष्णु प्रभाकर जी हैं।

व्याख्या: इस पंक्ति के द्वारा लेखक बताना चाहते हैं कि मारने वाले से बड़ा किसी की जान बचाने वाला हैं, क्योंकि किसी की जान लेने के बाद उसे जिंदा करने का अधिकार हमारे पास नहीं हैं, इसलिए जब हम किसी को जिंदा नहीं कर सकते तो मार कैसे सकते हैं।

S.L No.CONTENTS
(GROUP – A) काव्य खंड
Chapter – 1पद-युग्म
Chapter – 2वन – मार्ग में
Chapter – 3किरणों का खेल
Chapter – 4तोड़ती पत्थर
Chapter – 5यह दंतुरित मुसकान
Chapter – 6ऐ मेरे वतन के लोगो
Chapter – 7लोहे का स्वाद
गद्य खंड
Chapter – 8आत्म निर्भरता
Chapter – 9नमक का दारोगा
Chapter – 10अफसर
Chapter – 11न्याय
Chapter – 12वन-भ्रमण
Chapter – 13तीर्थ-यात्रा
Chapter – 14इंटरनेट की खट्टे-मीठे अनुभव
(GROUP – B) काव्य खंड
Chapter – 15बरगीत
Chapter – 16कदम मिलाकर चलना होगा
गद्य खंड
Chapter – 17अमीर खुसरु की भारत भक्ति
Chapter – 18अरुणिमा सिन्हा: साहस की मिसाल

भाषा एवं व्याकरण

1. निम्नलिखित वाक्यों को निर्देशानुसार परिवर्तित कीजिए:

(क) आकाश में बादल के छाते ही वर्षा होने लगी। (संयुक्त वाक्य में)

उत्तरः आकाश में बादल छाए और वर्षा होने लगे।

(ख) जो मेहनत करता है वह सफल होता है। (सरल वाक्य में)

उत्तरः मेहनत करने वाला ही सफल होता है।

(ग) मैंने एक लंबा साँप देखा। (मिश्र वाक्य में)

उत्तरः मैंने एक साँप देखा जो बहुत लंबा था।

(घ) देवदत्त ने हंस को तीर मारकर नीचे गिराया। (संयुक्त वाक्य में)

उत्तर: देवदत्त ने हंस को तीर मारा और वह नीचे गिर गया।

(ङ) सिद्धार्थ ने घायल हंस को देखा और उसे गोद में उठा लिया। (सरल वाक्य में)

उत्तरः सिद्धार्थ ने घायल हंस के देखकर गोद में उठा लिया।

अतिरिक्त प्रश्नोत्तर

1. हिंदी आधुनिक एकांकियों के जन्मदाताओं में कौन अन्यतम हैं?

उत्तर: हिंदी आधनिक एकांकियों के जन्मदाताओं में से विष्णु प्रभाकर जी अन्यतम हैं।

2. विष्णु प्रभाकर जी का जन्म कब और कहाँ हुआ था?

उत्तर: विष्णु प्रभाकर जी का जन्म 21 जून, 1912 को उत्तर प्रदेश के मुजफ्फरनगर जिले में हुआ था।

3. विष्णु प्रभाकर जी की कृतियों के मुख्य भाव क्या है?

उत्तर: विष्णु प्रभाकर जी की कृतियों के मुख्य भाव देशप्रेम तथा सामाजिक विकास हैं।

4. विष्णु प्रभाकर मूलतः किस विधा के साहित्यकार थे?

उत्तर: विष्णु प्रभाकर ने नाटक, कहानी, उपन्यास, यात्रा-संस्मरण आदि लिखे हैं। वे मूलतः एकांकीकार के रूप में अधिक प्रख्यात हैं।

5. विष्णु प्रभाकर जी की कृतियों के नाम लिखिए।

उत्तर: विष्णु प्रभाकर जी की कृतियों के नाम हैं – ‘बारह एकांकी’ ‘प्रकाश और परछाई’, ‘इंसान’, क्या वह दोषी था’ आदि।

6. उनके बहुचर्चित नाटकों में क्या बड़े महत्वपूर्ण हैं?

उत्तर: उनके बहुचर्चित नाटकों में ‘डॉक्टर’ तथा ‘साधि’ बड़े ही महत्वपूर्ण हैं।

7. विष्णु प्रभाकर जी का निधन कब हुआ?

उत्तर: विष्णु प्रभाकर जी का निधन 11 अप्रैल 2009 को हुआ।

8. राजकुमार सिद्धार्थ और देवदत्त के बीच विवाद किसको लेकर हुआ?

उत्तर: राजकुमार सिद्धार्थ और देवदत्त के बीच विवाद घायल हंस को लेकर हुआ।

9. राजकुमार सिद्धार्थ और उनके मित्र कहाँ बैठे हुए थे?

उत्तर: राजकुमार सिद्धार्थ और उनके मित्र उद्यान में बैठे हुए थे।

10. राजकुमार सिद्धाथ और देवदत्त के बीच उत्पन्न विवाद को सुलझाने के लिए दोनों किसके पास गए थे?

उत्तर: राजकुमार सिद्धार्थ और देवदत्त के बीच उत्पन्न विवाद को सुलझाने के लिए दोनों कपिलवस्तु के महाराज शुद्धोधन के पास गए थे।

11. ‘बताओं यह क्या मारने के लिए है?’ – यह कथन किसका है?

उत्तर: ‘बताओं यह क्या मारने के लिए है?’ – यह कथन राजकुमार सिद्धार्थ का है।

12. प्रस्तुत पाठ के आधार पर बताइए कि मारने वाला बड़ा होता है कि बचाने वाला?

उत्तर : प्रस्तुत पाठ के आधार पर यह कहा जा सकता है कि मारने वाले से बचाने वाला बड़ा होता हैं।

13. राजकुमार सिद्धार्थ और देवदत्त के बीच के विवाद का समाधान किसने किया?

उत्तर: राजकुमार सिद्धार्थ और देवदत्त के बीच के विवाद का समाधान मंत्री ने किया।

Leave a Reply

error: Content is protected !!
Scroll to Top